नई दिल्ली1 घंटे पहले
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रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने 06 दिसंबर 2021 में भारत की यात्रा की थी। वह सिर्फ 4 घंटे के लिए भारत आए थे।
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन इस साल भारत आएंगे। रूसी विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव ने कहा कि राष्ट्रपति के विजिट के लिए तैयारियां की जा रही हैं। हालांकि, उन्होंने यह नहीं बताया कि यह यात्रा किस महीने या तारीख को हो सकती है।
लावरोव ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री चुने जाने के बाद रूस की अपनी पहली विदेश यात्रा की है। अब हमारी बारी है। राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने भारतीय सरकार का निमंत्रण स्वीकार कर लिया है।
रूसी विदेश मंत्री ने यह बयान ‘रूस और भारत: एक नए द्विपक्षीय एजेंडे की ओर’ समिट के दौरान दिया है। इस बैठक का आयोजन रूसी अंतरराष्ट्रीय मामलों की परिषद (RIAC) ने किया।
आखिरी बार 2021 में भारत आए थे पुतिन रूसी राष्ट्रपति पुतिन ने 06 दिसंबर 2021 में भारत की यात्रा की थी। वह सिर्फ 4 घंटे के लिए भारत आए थे। इस दौरान भारत और रूस के बीच 28 समझौते पर दस्तखत हुए थे। इसमें मिलिट्री और तकनीकी समझौते थे। दोनों देशों ने 2025 तक 30 अरब डॉलर (2 लाख 53 हजार करोड़ रुपए) सालाना ट्रेड का टारगेट रखा था।
फरवरी 2022 में यूक्रेन वॉर शुरू होने पुतिन की पहली भारत यात्रा होगी। इस विजिट से दोनों देशों के बीच 2030 के लिए नए आर्थिक रोडमैप को आगे बढ़ाने की उम्मीद है।
भारत और रूस अपने बाइलेट्रल ट्रेड को दोगुना करके सालाना 100 अरब डॉलर से ज्यादा करने पर सहमत हुए हैं। फिलहाल दोनों देशों के बीच करीब 60 अरब डॉलर का द्विपक्षीय व्यापार है।

2021 में पुतिन महज कुछ घंटे के लिए भारत आए थे, उन्होंने नई दिल्ली में पीएम मोदी से मुलाकात की थी।
2024 में दो बार रूस गए थे मोदी PM मोदी ने साल 2024 में दो बार रूस की यात्रा की थी। वे BRICS समिट के लिए 22 अक्टूबर को रूस गए थे। इससे पहले जुलाई में भी मोदी ने दो दिन का रूस दौरा किया था। तब उन्होंने पुतिन को भारत आने का न्योता दिया था।

रूस ने पिछले साल 9 जुलाई को मॉस्को में पीएम नरेंद्र मोदी को देश का सर्वोच्च सम्मान ‘ऑर्डर ऑफ सेंट एंड्रयू द एपोस्टल’ दिया था। राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने खुद उन्हें सम्मानित किया।
अरेस्ट वारंट जारी होने के बाद दूसरे देशों की यात्रा से बच रहे पुतिन मार्च 2023 में ICC ने पुतिन के खिलाफ अरेस्ट वारंट जारी किया था। कोर्ट ने यूक्रेन में बच्चों के अपहरण और डिपोर्टेशन के आरोपों के आधार पर पुतिन को वॉर क्राइम्स के लिए जिम्मेदार माना था।
यह पहला मौका था जब ICC ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) के किसी स्थायी सदस्य देश के टॉप लीडर के खिलाफ अरेस्ट वारंट जारी किया था। अमेरिका, रूस, चीन, ब्रिटेन और फ्रांस UNSC के स्थायी सदस्य हैं।
इसके बाद से पुतिन दूसरे देशों की यात्राएं करने से बचते रहे हैं। वह पिछले साल G20 समिट में शामिल होने भारत नहीं आए थे। इस साल ब्राजील में हो रहे G20 समिट में भी हिस्सा नहीं लिया है। उनकी जगह विदेश मंत्री सर्गेई लावरोव दोनों कार्यक्रम में शामिल हुए।
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