लखनऊ में तापमान 40 डिग्री तक पहुंच गया है। इससे इंसान ही नहीं पशु-पक्षी भी परेशान हैं। इसको देखते हुए नवाब वाजिद अली शाह प्राणी उद्यान (ZOO) में पशु-पक्षियों को गर्मी से बचाने के लिए खास इंतजाम किए गए हैं। शेर और चीते को गर्मी से बचाने के लिए कूलर लग
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विशेष मस्ट फैन से सांपों को ठंडक पहुंचाई जा रही है। हिरन और चिड़ियों को स्प्रिंकलर सिस्टम से राहत दिलाई जा रही है। जूट मस्ट से बंदरों की गर्मी भगाई जा रही है। खाने में खीरे, ककड़ी, खरबूज और तरबूज दिए जा रहे हैं। जू में 81 प्रजाति के एक हजार जीव-जंतु हैं।
प्राणी उद्यान की निदेशक अदिति शर्मा बताती हैं- गर्मी में कुछ वन्य जीवों के बाड़ों में जहां अधिक धूप आती है। उनके आसपास बड़ी संख्या में पेड़-पौधे लगाए गए हैं, जिससे कि वहां हरियाली रहे। वन्य जीवों को गर्मी से निजात दिलाने के लिए काम किया जा रहा। बाड़ों में सुबह-शाम पीने का ताजा पानी भरकर रखा जा रहा है। बाड़ों को प्रतिदिन पानी से धोकर साफ किया जाता है, ताकि ठंडक बनी रहे।
कूलर और जूट के मैट से भगाई जा रही गर्मी
अदिति शर्मा बताती हैं कि जंगल में जानवर रहते हैं, तो वह मौसम के हिसाब से अपने आप को धीरे-धीरे एडजस्ट कर लेते हैं। गर्मी से राहत पाने के लिए तालाब में बैठ जाते हैं, लेकिन कैप्टिव एनिमल्स के लिए अलग व्यवस्था करनी पड़ती हैं। यह देखते हुए जू में 2 दर्जन कूलर लगाए गए हैं। उनमें शेर व चीता के बाड़े, मछली घर, उल्लू घर आदि शामिल है। सांपों के लिए विशेष मिस्ट फैन लगाई गई है। चिड़ियों व बंदरों के बाड़े पर जूट के मैट लगाए गए हैं, जिससे धूप कम आए।

हिरन के लिए लगे स्प्रिंकलर सिस्टम
हिरन के लिए बाड़ों में स्प्रिंकलर सिस्टम लगाए गए हैं, जिससे वह ठंडे पानी का आनंद ले सकें। स्प्रिंकलर के द्वारा समय-समय पर पानी में भीगकर खुद को ठंडा रख सकें। पानी भरे हौज की भी व्यवस्था कराई गई है। इससे उन्हें काफी राहत मिल रही है।
दरियाई घोड़ के लिए बदला जा रहा पानी
मगरमच्छ और दरियाई घोड़े जैसे जानवर पानी में ही रहते हैं। 24 घंटे में दो बार उनके पानी को बदला जा रहा है। शेर , भालू , चीता-जैसे जानवरों को लू से बचाने के लिए पोंड में पानी भर दिया गया है, जिससे गर्मी का अहसास होने पर वह पानी में बैठ सकें।

खरबूज-तरबूज शामिल, अंडे बंद
अदिति शर्मा बताती हैं कि गर्मी में पशु-पक्षियों के डाइट में भी बदलाव किया गया है, ताकि वह डिहाइड्रेशन व अन्य समस्याओं से बचाया जा सके। इसके लिए उनकी डाइट में मौसमी फल-सब्जियों जैसे- खीरा, ककड़ी, तरबूज, खरबूज, मौसमी और पत्तेदार सब्जियों को शामिल किया गया है। जाड़े में दिए जाने वाले अंडे और अन्य गर्म खाद्य पदार्थों को बंद कर दिया गया है। मांसाहारी पशु-पक्षियों की डाइट में मीट की मात्रा कम की गई है।

छत और घर के बाहर पानी रखने की अपील अदिति शर्मा ने कहा कि चिड़ियाघर में जानवरों को कई सुविधाएं दी जा रही हैं। उन्होंने कहा कि आम आदमी की भी जिम्मेदारी है कि गर्मी के मौसम में अपने छत और घर के बाहर पानी जरूर रखें। छत पर आने वाली पक्षियों और घर के बाहर घूमने वाले पालतू जानवरों को भी गर्मी में सुविधा मिल सके