मंगलवार शाम को गोदाम में गेंहू कट्टों की जांच करती टीम।
करनाल के कुंजपुरा स्थित खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के सरकारी गोदाम में 40 क्विंटल गेहूं की गड़बड़ी सामने आई है। डीएफएससी की टीम द्वारा की गई जांच में यह स्टॉक कम पाया गया है। टीम ने मंगलवार को रिपोर्ट तैयार कर ली है जिसे आज चंडीगढ़ हेडक्वाटर भेजा जाएगा।
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कुंजपुरा गोदम में रखे गेंहू की तोल के लिए गेंहू के कट्टे उठाती लेबर।
मंत्री के दौरे के बाद जांच में आई तेजी बीते शुक्रवार को हरियाणा के खाद्य एवं आपूर्ति मंत्री राजेश नागर ने इस गोदाम का औचक निरीक्षण किया था। निरीक्षण के समय गोदाम की चाबी मौके पर नहीं थी, जिससे मंत्री नाराज हो गए थे और एक बार लौट गए थे। हालांकि कुछ समय बाद वे दोबारा गोदाम पर पहुंचे और खुद मौजूद रहकर कट्टों की गिनती व वजन जांच के आदेश दिए। उन्होंने जांच में वीडियोग्राफी अनिवार्य करने के निर्देश दिए थे और गोदाम इंचार्ज अशोक शर्मा को मौके पर ही सस्पेंड कर दिया था।
पूर्व में भी घोटालों से जुड़ा रहा है गोदाम कुंजपुरा का यह गोदाम पहले भी विवादों में रह चुका है। शिकायतकर्ता विकास शर्मा ने मुख्यमंत्री कार्यालय को भेजी शिकायत में गंभीर आरोप लगाए थे। उन्होंने कहा था कि गोदाम में हजारों गेहूं के कट्टे अधूरे हैं, सिलाई ठीक नहीं है, वजन मानकों से कम है और अनुमानित 4400 कट्टे कम निकल सकते हैं। उन्होंने इस घोटाले की उच्चस्तरीय जांच की मांग की थी।

गोदाम में रखे गेंहू की भार की जांच करती टीम।
इंचार्ज पर पहले भी लग चुके हैं आरोप
जिस अशोक शर्मा को इस बार सस्पेंड किया गया है, उन पर पहले भी रिश्वतखोरी के आरोप लग चुके हैं। वह करीब दो महीने जेल भी जा चुके हैं। बावजूद इसके, उन्हें फिर से उसी गोदाम पर तैनात कर दिया गया था। अब एक बार फिर उनके खिलाफ गेहूं स्टॉक में गड़बड़ी के आरोप सामने आए हैं।
डीएफएससी ने दी जानकारी जांच टीम के प्रभारी और डीएफएससी अनिल कुमार ने बताया कि कुंजपुरा गोदाम में स्टॉक की चेकिंग पहले से चल रही थी। मंत्री राजेश नागर की विजिट के समय तक एक स्टैग की जांच हो चुकी थी। मंत्री जी के निर्देशों के बाद दो अन्य स्टैग की जांच की गई, जिसमें 40 क्विंटल गेहूं कम पाया गया। इसकी पूरी रिपोर्ट बनाकर टीम ने जमा कर दी है जिसे अब चंडीगढ़ मुख्यालय भेजा जाएगा। वहीं से अगला एक्शन तय होगा।

कुंजपुरा के गोदाम में रखे गेंहू के स्टॉक का दृश्य।
अब निगाहें हेडक्वाटर की कार्रवाई पर जांच की रिपोर्ट बनकर तैयार है और चंडीगढ़ हेडक्वाटर भेजी जा चुकी है। अब निगाहें हेडक्वाटर से होने वाली कार्रवाई पर टिकी हैं। मंत्री के आदेश के बाद अब इस मामले में कई और नामों की जांच की जा सकती है। विभागीय अधिकारियों का कहना है कि अगला कदम अब उच्च स्तर से ही लिया जाएगा।