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15 मिनट पहले
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पुराने समय की बात है, एक राजा को युद्ध करने का बहुत शौक था। वह जब भी युद्ध के लिए निकलता तो साथ में इतना खाना-पीना और सामान ले जाता कि उसे ले जाने के लिए 300 से ज्यादा हाथियों की जरूरत पड़ती थी। उसकी शान-शौकत, ऐश्वर्य और वैभव देखने लायक होता था।
एक बार वो राजा एक युद्ध बुरी तरह हार गया। शत्रु राजा ने न केवल उसे कैद कर लिया, बल्कि उसके सारे हाथी और सामान भी जब्त कर लिए।
अब वही राजा, जो कभी बड़ी सेना और भव्यता के साथ चलता था, एक कैदी बन गया था – वह अकेला, लाचार और भूखा था।
एक दिन उसका पुराना रसोइया किसी तरह उसे देखने पहुंच गया। राजा ने अपने रसोइए से कहा कि मुझे बहुत भूख लगी है, क्या तुम मेरे लिए कुछ बनाकर ला सकते हो?
रसोइया किसी तरह थोड़ी सी सब्जी और रोटी का इंतजाम करके राजा के पास लौट आया। रसोइए ने राजा के एक छोटे से बर्तन में रोटी और सब्जी सामने रख दी, लेकिन जैसे ही राजा ने खाने के लिए हाथ बढ़ाया, एक कुत्ता वहां आ गया और उस कुत्ते ने बर्तन में मुंह डाल दिया। बर्तन का मुंह छोटा था, इस कारण कुत्ते का मुंह उस बर्तन में फंस गया। कुत्ता डर गया और वह बर्तन लेकर वहां से भाग गया।
ये दृश्य देखकर राजा जोर-जोर से हंसने लगा। रसोइया हैरान हो गया और बोला कि महाराज, मैं बहुत मुश्किल से आपके लिए खाना लाया और वह भी एक कुत्ता ले गया है और आप हंस रहे हैं, ऐसा क्यों?
राजा ने मुस्कुराते हुए कहा कि मैं इस बात पर हंस रहा हूं कि एक समय था जब मेरे भोजन को ढोने के लिए सैकड़ों हाथियों की जरूरत पड़ती थी और आज एक कुत्ता मेरा खाना लेकर चला गया। ये बात सच है कि समय कभी भी बदल सकता है।
प्रसंग की सीख
इस कहानी में जीवन का गहरा संदेश छिपा है, हालात कभी भी स्थायी नहीं होते है। सुख और दुख दोनों ही अस्थायी हैं। जिस राजा के पास कभी असीम वैभव था, वह एक दिन भूखा बैठा था, लेकिन उसने परिस्थिति को मुस्कान के साथ स्वीकार कर लिया। जीवन में सुखी और शांत रहना चाहते हैं तो ये बातें हमेशा ध्यान रखें-
- दुखों की वजह से टूटने की बजाय, मुस्कुराकर उन्हें स्वीकार करना चाहिए।
- पुराने समय के वैभव के बारे में सोच-सोचकर निराशा नहीं होना चाहिए, बल्कि वर्तमान की सच्चाई को अपनाना चाहिए।
- समय के साथ चलना चाहिए, ना कि समय से लड़ना चाहिए।
- कठिन समय में हंसना कोई कमजोरी नहीं, बल्कि सबसे बड़ी ताकत है। ये हमारी दृढ़ता और भावनात्मक संतुलन का सबसे बड़ा सबूत है। जो इंसान बुरे समय में भी मुस्कुराना जानता है, वही सच्चे अर्थों में जीवन जीना जानता है।
- जीवन में उतार-चढ़ाव आते रहते हैं। जरूरी यह नहीं कि हम कब ऊपर थे और कब नीचे, बल्कि यह जरूरी है कि हम हर परिस्थिति में कैसे व्यवहार करते हैं। राजा की कहानी हमें यही सिखाती है कि हालात चाहे जैसे भी हों, आत्मबल और मुस्कान ही हमें संभाले रखते हैं।